लखनऊ। फैजाबाद शहर के केंद्रीय विद्यालय समेत नामी-गिरामी निजी स्कूलों तक में हजारों बच्चों के दिमाग में राष्ट्रगान का जो रूप ग़ढा जा रहा है, उसमें कई शब्दों में वर्तनी की अशुद्धता है। बच्चों की डायरी में लिखे राष्ट्रगान में आठ से १० स्थानों पर वर्तनी दोष है। कॉन्वेंट स्कूलों की ओर से वितरित की गई डायरियों में सिंध की जगह सिंधु, द्रावि़ड की जगह द्राविण या द्रवि़ड, बंग की जगह बंगा, भारत भाग्य विधाता के स्थान पर भारत विधाता, गाहे के स्थान पर गाहें, जन-गण-मंगलदायक की जगह जन-गण-मन-अधिनायक जय हे लिखा गया है। बच्चे ठाठ के साथ राष्ट्रगान के इसी रूप का पाठ कर रहे हैं। नगर के इन स्कूलों ने बच्चों को बांटी डायरियों में राष्ट्रगान को गलत लिखवाकर अपमान किए जाने का मामला सामने आया है। राष्ट्रगान के गलत प्रकाशन से छात्र-छात्राएं जहां जन-गण-मन गलत सीख रहे हैं, वहीं इसके वास्तविक स्वरूप से भी परिचित होने से वंचित हो रहे हैं। डायरियों में शैक्षिक सत्र का उल्लेख तो नहीं है लेकिन ये सभी डायरियां सत्र २०१७-१८ में चल रही हैं। जिन स्कूलों में ये डायरी चल रही हैं उनमें प्रमुख रूप में केंद्रीय विद्यालय कैंट, टिनी टाट्स सीनियर सेकेंडरी स्कूल, महाराजा पब्लिक स्कूल अयोध्या, ग्रामर इंटर कॉलेज लालबाग, एमआईएस इंटर नेशनल स्कूल देवकाली, कनौसा शामिल हैं। डायरियों में सिर्फ स्कूलों का ब़डा-ब़डा नाम दर्ज है, प्रकाशन कहां से हुआ है, इसकी कोई जानकारी नहीं दी गई है। केंद्रीय विद्यालय कैंट के प्राचार्य श्रीवास्तव कहते हैं, बच्चे प्रतिदिन सुबह प्रार्थना के समय जन गण मन का उच्चारण करते हैं, वह पूरी तरह शुद्ध होता है। हम ध्यान रखते हैं। डायरी में यदि कुछ मिस प्रिंट या प्रिटिंग मिस्टेक है तो उसे शुद्ध करा दिया जाएगा। वहीं, डीआईओएस देवी सहाय तिवारी ने बताया, अभी तो मेरी जानकारी में नहीं है लेकिन इस प्रकरण की जांच कराएंगे। जो भी दोषी होंगे, उन्हें बख्शेंगे नहीं।
यहां स्कूल में सिखाया जा रहा है बच्चों को गलत राष्ट्रगान
यहां स्कूल में सिखाया जा रहा है बच्चों को गलत राष्ट्रगान