माना (उत्तराखंड)। केंद्र चीन की सीमा से सटे क्षेत्रों में सुरक्षा और विकास मुद्दों के विश्लेषण के लिए एक अध्ययन दल गठित करने पर विचार कर रहा है और साथ ही वह सीमावर्ती आबादी को देश की मुख्यधारा में शामिल करने पर विशेष बल देगा। यह अध्ययन दल केंद्रीय गृह मंत्रालय को अपनी रिपोर्ट सौंपने से पहले चीन से सटे राज्यों की सरकारों एवं अन्य प्रतिनिधि समूहों से बातचीत करेगा। उत्तराखंड में चीन की सीमा से सटे क्षेत्रों के हाल के दौरे के दौरान गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि यह अध्ययन दल उन विभिन्न पहलुओं का संपूर्ण अध्ययन करने के लिए गठित किया जाएगा जो चुनौती पेश करते हैं। देश के पांच पूर्वी राज्यों में फैली ४००० किलोमीटर सीमा पर सुधार की जरुरत है।चमोली जिले में यहां अग्रिम चौकी पर आईटीबीपी जवानों के साथ संवाद के बाद उन्होंने कहा कि यह दल इन राज्यों में सीमावर्ती स़डकों के विकास को तेजी से पूरा करने के तौर तरीकों पर विचार करेगा। उन्होंने जोशीमठ में हाल ही में अपने भाषण में इन क्षेत्रों में सरकारी सहयोग प्रणाली ब़ढाने की जरुरत पर बल दिया और कहा कि सीमावर्ती आबादी देश की रणनीतिक पूंजी है जिसे विशेष महत्व देने की जरुरत है। उन्होंने आईटीबीपी जैसे सीमा प्रहरियों से यह सुनिश्चित करने को कहा कि वे यहां से अन्यत्र पलायन न करें।भारत तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, स्थानीय जनसंख्या देश और उसकी सुरक्षा व्यवस्था के लिए आंखें और कान हैं। यदि वे नहीं हैं तो चिंताजनक स्थिति है। हाल ही में चीन और भारतीय सैनिक सिक्किम सेक्टर के डोकलाम में दो महीने तक आमने-सामने डटे रहे। इससे पहले भारतीय सैनिकों ने चीन की सेना को स़डक बनाने से रोक दिया था।
केंद्र कर रहा है चीन सीमा पर सुरक्षा मुद्दे के विश्लेषण के लिए अध्ययन दल बनाने पर विचार
केंद्र कर रहा है चीन सीमा पर सुरक्षा मुद्दे के विश्लेषण के लिए अध्ययन दल बनाने पर विचार