तेदेपा ने केंद्र को स्पष्ट समयसीमा के साथ आंध्र के लिए योजनाओं की जानकारी देने को कहा

तेदेपा ने केंद्र को स्पष्ट समयसीमा के साथ आंध्र के लिए योजनाओं की जानकारी देने को कहा

अमरावती। भाजपा और तेदेपा के बीच संबंधों में तनाव की खबरों के बीच आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने बुधवार को कहा कि यह दो सरकारों के बीच की समस्या है जिसका हल संसद में होगा ना कि स़डकों पर। उन्होंने साथ ही केंद्र से स्पष्ट समयसीमा के साथ आंध्र के लिए योजनाओं की जानकारी देने को कहा। तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) ने इससे पहले इस बात को लेकर दुख जताया था कि केंद्रीय बजट में आंध्र प्रदेश को कोई खास फायदे नहीं दिए गए।मुख्यमंत्री ने एक टेलीकॉन्फ्रेंस में अपनी पार्टी के सांसदों, विधायकों एवं वरिष्ठ नेताओं से कहा, यह दो सरकारों (केंद्र और राज्य) के बीच की समस्या है। इस समस्या को लेकर हमें संसद में ल़डना होगा स़डकों पर नहीं। उन्होंने मांग की कि (आंध्र प्रदेश के) विभाजन से जु़डे सभी मुद्दों पर बहस और आंध्र प्रदेश पुनर्गठन अधिनियम, २०१४ के कार्यान्वयन की समीक्षा के लिए दो घंटे की एक विशेष चर्चा की जाए। नायडू ने कहा, तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह द्वारा राज्यसभा में किए गए वादों और केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा (सितंबर, २०१६ में) की गई विशेष आर्थिक पैकेज की भी समीक्षा की जाए। आंध्र प्रदेश के राजस्व घाटे और बाह्य अनुदान वाली परियोजनाओं के तहत मदद पर राज्यसभा में जेटली के बयान पर मुख्यमंत्री ने कहा, अब (राजस्व घाटे को पाटने का) यह नया फॉर्मूला क्या है? उन्होंने कहा, जब राज्य के विभाजन को लेकर किसी फॉर्मूले का इस्तेमाल नहीं किया गया तो अब वंचित राज्य की मदद के लिए नया फॉर्मूला क्यों? नायडू ने तेदेपा सांसदों से कहा कि भले ही आप निलंबित कर दिए जाए, संसद में हंगामा जारी रखें।

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