बाड़मेर/दक्षिण भारत। राजस्थान के बाड़मेर जिले में रविवार को धार्मिक कार्यक्रम के दौरान पांडाल गिरने से 14 लोगों की मौत हो गई। वहीं, 50 लोग घायल हो गए।
जानकारी के अनुसार, जसोल गांव में राम कथा का आयोजन किया गया था। इस दौरान तूफान आने से पांडाल गिर गया। एक रिपोर्ट में बताया गया है कि पांडाल गिरने से करंट दौड़ गया, इस वजह से इतने लोगों की जान चली गई। हालांकि ये पंक्तियां लिखे जाने तक इसकी पुष्टि नहीं की गई थी।
बताया गया है कि लोग रामकथा सुन रहे थे कि अचानक बारिश शुरू हो गई। पांडाल के नीचे काफी संख्या में लोग मौजूद थे। तूफान के कारण पांडाल गिरा और लोगों में अफरातफरी मच गई। घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
बालोतरा के एएसपी रतन लाल भार्गव ने कम से कम 14 लोगों की मौत और करीब 50 लोगों के घायल होने की बात कही है। कार्यक्रम स्थल पर सैकड़ों की तादाद में लोग मौजूद थे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस घटना पर दुख व्यक्त किया है। उन्होंने ट्वीट किया, राजस्थान के बाड़मेर में पांडाल गिरने की घटना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। मेरी संवेदनाएं पीड़ित परिवार के साथ हैं। मैं घायलों के जल्द ठीक होने की कामना करता हूं।
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने हादसे पर दुख जताया। उन्होंने ट्वीट किया, बाड़मेर में रामकथा के दौरान टेंट गिरने से हुए हादसे में बड़ी संख्या में लोगों की जान जाने की जानकारी अत्यंत दुखद, दुर्भाग्यपूर्ण है। ईश्वर से दिवंगतों की आत्मा को शांति प्रदान करने, शोकाकुल परिजनों को सम्बल देने की प्रार्थना है। घायलों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की कामना करता हूं।
मुख्यमंत्री गहलोत ने बताया कि स्थानीय प्रशासन द्वारा राहत एवं बचाव का कार्य किया जा रहा है। संबंधित अधिकारियों को हादसे की जांच करने, घायलों का शीघ्र उपचार सुनिश्चित करने तथा प्रभावितों एवं उनके परिजनों को हरसंभव सहायता उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं।
राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया ने भी इस घटना पर दुख जताया। उन्होंने ट्वीट किया, मेरी सभी भाजपा कार्यकर्ताओं से अपील है कि बाड़मेर हादसे में घायल हुए भाई-बहनों व उनके परिजनों की हरसंभव सहायता करें। साथ ही राज्य सरकार से निवेदन है कि मृतकों व घायलों के परिजनों को शीघ्र आर्थिक सहायता उपलब्ध कराएं।