जयपुर/भाषा। राजस्थान में कांग्रेस की अशोक गहलोत सरकार के खिलाफ बगावती रुख अपनाने वाले नेता सचिन पायलट ने राज्य में राजनीतिक घटनाक्रम पर पहली बार प्रतिक्रिया देते हुए मंगलवार को कहा कि सत्य को परेशान किया जा सकता है, लेकिन पराजित नहीं।
पायलट ने ट्वीट किया, ‘सत्य को परेशान किया जा सकता है, पराजित नहीं।’ इसके साथ ही उन्होंने अपने ट्विटर प्रोफाइल से उपमुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष का उल्लेख हटा दिया। अब उनके प्रोफाइल में उनके विधायक (टोंक) और पूर्व केंद्रीय मंत्री होने तथा कांग्रेस के वेबसाइट लिंक का उल्लेख है।
उल्लेखनीय है कि अशोक गहलोत सरकार के खिलाफ बगावती रुख अपनाने के लिए पायलट एवं उनके साथी नेताओं के खिलाफ कांग्रेस ने कड़ी कार्रवाई की है। पायलट को उपमुख्यमंत्री पद के साथ-साथ पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष पद से भी हटा दिया गया है।
इसके साथ ही पार्टी ने कड़ा रुख अपनाते हुए पायलट खेमे में गए सरकार के दो मंत्रियों विश्वेंद्र सिंह एवं रमेश मीणा को भी उनके पदों से तत्काल हटा दिया है। पार्टी ने मौजूदा राजनीतिक संकट के बीच कांग्रेस विधायक दल की बैठक में नहीं आने वाले तथा पायलट के साथ गए मंत्रियों के अलावा दो अन्य विधायकों को भी उनके पदों से हटा दिया है।
पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने यहां संवाददाताओं को बताया कि पायलट को उपमुख्यमंत्री एवं पार्टी प्रदेशाध्यक्ष पदों से हटा दिया गया है। इसके अलावा विश्वेंद्र सिंह को पर्यटन मंत्री एवं रमेश मीणा को खाद्य आपूर्ति मंत्री पद से तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया है।
उन्होंने बताया कि इसके अलावा पार्टी ने राजस्थान प्रांत युवा कांग्रेस के अध्यक्ष पद से मुकेश भाकर को हटा दिया है। उनकी जगह विधायक गणेश घोघरा नए अध्यक्ष होंगे। इसी तरह राकेश पारीक को हटाकर हेम सिंह शेखावत को राजस्थान प्रदेश कांग्रेस सेवा दल का नया अध्यक्ष नियुक्त किया गया है। कांग्रेस विधायक दल की यहां हुई बैठक के बाद यह जानकारी दी गई।
सीएम ने की राज्यपाल से मुलाकात
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मंगलवार दोपहर यहां राजभवन में राज्यपाल कलराज मिश्र से मुलाकात की। कांग्रेस विधायक दल की बैठक के बाद गहलोत राज्यपाल से मिलने पहुंचे। पार्टी सूत्रों के अनुसार, गहलोत ने मौजूदा राजनीतिक हालात के बारे में मिश्र को अवगत कराया। उन्होंने बताया कि मंत्रिमंडल में शीघ्र ही बदलाव संभव है।