चेन्नई/दक्षिण भारत। तमिलनाडु सरकार ने घोषणा की है कि रेमेडिसविर दवा मंगलवार से निजी अस्पतालों को सीधे मुहैया कराई जाएगी। यह फैसला स्वास्थ्य विशेषज्ञों की चेतावनी के बाद लिया गया है जो चेन्नई और अन्य स्थानों पर दवा खरीदने के लिए उमड़ी भीड़ के कारण जारी की गई है।
रविवार को सचिवालय में मुख्यमंत्री एमके स्टालिन की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया। बैठक में चिकित्सा एवं परिवार कल्याण मंत्री एम सुब्रमण्यम, स्वास्थ्य सचिव जे राधाकृष्णन और अन्य शीर्ष अधिकारियों ने भाग लिया।
यह होगी तैयारी
सरकार के बयान के अनुसार, इसके लिए एक पोर्टल शुरू किया जाएगा जिसके जरिए निजी अस्पतालों को सीधे बिक्री केंद्रों से रेमडेसिविर खरीदने की अनुमति होगी। घोषणा में डब्ल्यूएचओ और चिकित्सा विशेषज्ञों की सलाह का उल्लेख करते हुए कहा गया है कि रेमडेसिविर केवल उन रोगियों को दी जानी चाहिए जिनका इलाज ऑक्सीजन के सहारे चल रहा है। अन्य रोगियों के लिए दवा का सीमित लाभ है।
यह होगा तरीका
जो निजी अस्पताल यह दवा लेना चाहेंगे, उन्हें इसके लिए पोर्टल पर संबंधित मरीजों से संबंधित जानकारी मुहैया करानी होगी। इसके बाद ऑनलाइन आवेदन करने पर उन्हें रेमडेसिविर मिल जाएगी।
अधिकारी रखेंगे निगरानी
सरकार ने कहा कि अधिकारी निगरानी करेंगे कि क्या निजी अस्पतालों द्वारा रेमेडिसविर दवा का उपयोग केवल पात्र मरीजों के लिए किया जा रहा है और निर्धारित कीमत पर ही उपलब्ध कराई जा रही है। सरकार ने चेतावनी दी है कि यदि बिना किसी आवश्यकता के रेमडेसिविर की सिफारिश की गई तो कार्रवाई की जाएगी।
किसके लिए क्या नियम?
आधिकारिक बयान में बताया गया कि जब यह दवा आवंटित हो जाएगी, तो अस्पताल से अधिकृत व्यक्ति सरकारी बिक्री केंद्रों से रेमडेसिविर खरीद सकेगा। नई प्रक्रियाएं 18 मई से लागू होंगी। वहीं, जिन मरीजों का इलाज सरकारी अस्पतालों में हो रहा है, उन्हें रेमडेसिविर राज्य के स्वामित्व वाली तमिलनाडु चिकित्सा सेवा निगम (टीएनएमएससी) द्वारा उपलब्ध कराई जाती रहेगी।
बता दें कि अब तक निजी अस्पतालों में इलाज करा रहे मरीजों के लिए रेमडेसिविर चेन्नई, कोयंबटूर, सेलम, तिरुचिरापल्ली, मदुरै और तिरुनेलवेली में सरकारी बिक्री केंद्रों के माध्यम से बेची जाती थी।