अधिकारियों की गिरफ्तारी के विरोध से हलकान हुए मेट्रो यात्री

अधिकारियों की गिरफ्तारी के विरोध से हलकान हुए मेट्रो यात्री

बेंगलूरु। बेंगलूरु मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (बीएमआरसीएल) के दो अधिकारियों ने सुरक्षाकर्मियों से हाथापायी कर शहर के चार लाख दैनिक मेट्रो रेलयात्रियों की हालत बिगा़ड दी। इन अधिकारियों को हाथापायी के बाद सेवा से निलंबित ही नहीं किया गया, बल्कि इन्हें पुलिस ने गिरफ्तार भी कर लिया। इसके कार्रवाई के विरोध में मेट्रो रेलकर्मियों ने शुक्रवार को मेट्रो का सारा काम-काज ठप्प कर दिया। आज सुबह जब दैनिक यात्री मेट्रो स्टेशनों पर पर पहुंचे तो उन्हें हर स्टेशन बंद नजर आया। बेंगलूरु पुलिस ने ट्विटर पर इसकी जानकारी देते हुए बताया, ’’मेट्रो सेवाएं अस्थायी तौर पर बंद हैं…!’’ बहरहाल, राहत की बात यह रही कि पुलिस और बीएमआरसीएल अधिकारियों के बीच हुई बातचीत के बाद मेट्रो की सेवाएं बहाल कर दी गईं।जानकारी के मुताबिक, बीएमआरसीएल के दो अधिकारियों ने गुरुवार को मेट्रो रेल व्यवस्था की सुरक्षा के लिए तैनात किए गए कर्नाटक राज्य औद्योगिक सुरक्षा बल (केएसआईएसएफ) के कर्मचारियों के साथ सुरक्षा जांच प्रक्रिया के खिलाफ किसी बात पर हाथापायी कर ली थी। इस विवाद में बीएमआरसीएल के अन्य कई अधिकारी और कर्मचारी भी कूद प़डे थे और दोनों पक्षों के बीच मुक्कों और घूंसों की नौबत तक बन गई थी। यह घटना सेंट्रल कॉलेज स्टेशन की है। यह मसला इतना तूल पक़ड गया कि बीएमआरसीएल और केएसआईएसएफ के अधिकारियों को इसे बातचीत से सुलझाने में असफलता हाथ लगी। दोनों पक्षों की बातचीत शुक्रवार सुबह चार बजे आपसी तनाव के बीच हुई बताई जाती हैै। पुलिस का कहना था कि इस मामले में सिर्फ बीएमआरसीएल के अधिकारियों को ही नहीं, बल्कि केएसआईएसएफ के दो कर्मचारियों को भी गिरफ्तार किया गया है लेकिन मामला सुलझता नजर नहीं आया और आज सुबह-सुबह मेट्रो रेल यात्रियों को भारी मुसीबतों का सामना करना प़डा। आज यहां पत्रकारों को घटना की जानकारी देते हुए मेट्रो रेल अधिकारियों ने बताया कि उनके कुछ अधिकारियों पर केएसआईएसएफ कर्मचारियों ने कल हमला किया था। द्नय्प्तय्ंश्च ट्ट·र्ैंद्यय्प् फ्ष्ठ ्यद्धख्ठ्ठणक्कर्‍ ्यडत्र्यत्र?उल्लेखनीय है कि हाल के दिनों में ट्विटर पर पूरेे शहर में लगे मेट्रो के साइनबोर्ड्स से हिंदी में लिखे गए शब्दों को हटाने का अभियान चला हुआ है। हैशटैग नम्मामेट्रोहिंदीबे़डा (मेट्रो हमारा है, हम हिंदी नहीं चाहते) में कन्ऩड समर्थकों ने मांग की है कि साइन बोर्डों से हिंदी में लिखे हुए शब्द मिटाए जाएं्। कई मेट्रो स्टेशनों के ईद-गिर्द लगे साइन बोर्डों से हिंदी के शब्द मिटाने की कुछ तत्वों ने कोशिश भी की। वहीं, मेट्रो रेलवे के अधिकारियों ने नियमों का हवाला देते हुए हर साइन बोर्ड पर अंग्रेजी, कन्ऩड और हिंदी भाषा का प्रयोग करना जरूरी बताया। बहरहाल, हालात में तनाव देखते हुए मेट्रो स्टेशनों की सुरक्षा के लिए केएसआईएसएफ कर्मचारियों को तैनात कर दिया गया है।

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