कावेरी के पानी पर फिर गरमाने लगा माहौल

कावेरी के पानी पर फिर गरमाने लगा माहौल

मंड्या। कृष्णराजसागर बांध से तमिलनाडु के लिए कावेरी नदी का जल छो़डे जाने के विरोध में रविवार को किसानों ने यहां बेंगलूरु-मैसूरु हाईवे पर प्रदर्शन किया। इससे यहां कुछ समय के लिए यातायात बाधित रहा। मंड्या की अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक बीएसएन लावण्या ने बताया कि किसानों के स़डक रोको आंदोलन के कारण कुछ समय तक इस मार्ग पर यातायात बाधित रहा।किसानों ने तमिलनाडु को कावेरी जल की आपूर्ति रोकने की मांग पर इस स़डक पर स्थित गज्जलगेरे और इलावला गांवों में प्रदर्शन किया। उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य सरकार मंड्या और आस-पास के गन्ना किसानों के हितों की अनदेखी कर रही है। जहां कावेरी का पानी तमिलनाडु के किसानों के लिए छो़डा जा रहा है, वहीं राज्य के किसानों को गन्ने की खेती के लिए पानी की कमी महसूस हो रही है। राज्य सरकार ने कृष्णराजसागर बांध में जल भंडारण की मात्रा ब़ढाने के लिए भी अब तक कोई कदम नहीं उठाया है। कावेरी नीरावरी निगम के कार्यपालन अभियंता के. बसवराजे गौ़डा ने पुष्टि की कि रविवार को कावेरी नदी का २ हजार क्यूसेक पानी तमिलनाडु के लिए छो़डा गया है। इससे पूर्व २९ जून को भी ३ हजार क्यूसेक पानी तमिलनाडु को दिया गया था। इसके विरोध में किसानों और कन्ऩड समर्थक संगठनों के कार्यकर्ताओं ने तमिलनाडु को पानी भेजने के खिलाफ श्रीरंगपटना में प्रदर्शन किया था। इसके बावजूद दोबारा प़डोसी को पानी देने के विरोध में आज बेंगलूरु-मैसूरु रोड पर यातायात बाधित किया गया। किसान नेता जी मादेगौ़डा ने इससे पहले राज्य सरकार को चेतावनी दी थी कि अगर वह राज्य के किसानों के हितों की अनदेखी करते हुए तमिलनाडु को पानी भेजना बंद नहीं करती है तो उसे गंभीर हालातों का सामना करना होगा। उन्होंने आज प्रदर्शन के बाद पत्रकारों से बातचीत में कहा, ’’हम चाहते हैं कि जिस समय हमारे पास खेती के लिए पर्याप्त पानी नहीं है, उस समय अधिकारी तमिलनाडु को अतिरिक्त पानी की आपूर्ति नहीं करें। अगर वह अब भी हमारी मांग नहीं मानते हैं तो सरकार को गंभीर परिस्थितियों का सामना करना होगा’राज्य सरकार पर किसान हितों की अनदेखी का आरोपतमिलनाडु को जलापूर्ति तत्काल रोकने की मांग

About The Author: Dakshin Bharat