पुलिस स्टेशनों में महिलाओं को कानूनी मदद के लिए बनेगा प्रकोष्ठ

पुलिस स्टेशनों में महिलाओं को कानूनी मदद के लिए बनेगा प्रकोष्ठ

चेन्नई। जल्द ही राज्य के सभी पुलिस स्टेशनों में महिलाओं एवं बच्चों को समुचित कानूनी परामर्श उपलब्ध करवाने के लिए एक विधि प्रकोष्ठ का गठन किया जाएगा। यह प्रकोष्ठ महिलाओं और बच्चों द्वारा शिकायत दर्ज करवाने के बाद से लेकर उन्हें न्याय मिलने तक उनकी मदद करेगा। राज्य पुलिस विभाग राष्ट्रीय महिला आयोग की मदद से प्रत्येक पुलिस स्टेशन में इस प्रकार के प्रकोष्ठों की स्थापना करेगा। प्रत्येक पुलिस स्टेशन में दो महिला काउंसलरों को भी नियुक्त किया जाएगा। प्रथम चरण में इस प्रकार के प्रकोष्ठों का गठन चेन्नई, मदुरै, सेलम, तिरुनेलवेली और विलिपुरम जिले में होगा।सामाजिक कल्याण विभाग के अधिकारियों के अनुसार यह कदम पुलिस स्टेशनों में घरेलू हिंसा,दुष्कर्म और यौन शोषण की शिकार होने के बाद पहुंचने वाली महिलाओं और बच्चों को तत्काल समुचित परामर्श उपलब्ध करवाने के उद्देश्य से उठाया गया है। सामाजिक कल्याण विभाग के अधिकारियों के अनुसार राज्य में महिलाओं के लिए पूर्ण महिला पुलिस स्टेशन और दहेज रोधि प्रकोष्ठ पहले से ही कार्य कर रहे हैं हालांकि इस प्रकार के अपराधों की शिकार हुई महिलाओं को परामर्श देने के लिए पुलिस विभाग के पास कोई सुविधा नहीं है।महिलाओं अधिकारों तथा घरेलू हिंसा एवं यौन शोषण की शिकार हुई महिलाओं के लिए कार्य करने वाले सामाजिक संगठनों का यह मानना है कि जब इस प्रकार की स्थिति से किसी महिला का सामना होता है तो वह बाहरी मदद के लिए पुलिस के पास पहुंचती है। यौन शोषण या घरेलू हिंसा की शिकार हुई महिलाओं को पुराने स्थिति में लौटने के लिए समय-समय पर समुचित परामर्श की जरुरत होती है ताकि वह सदमे से उबर सके। परामर्श देने की यह सुविधा पुलिस स्टेशनों में होने पर महिलाओं को यह यकीन दिलाने में आसानी होगी कि समाज और कानून उनके साथ हैं। उल्लेखनीय है कि राज्य में महिलाओं को परामर्श उपलब्ध करवाने के लिए इन प्रकोष्ठों का गठन पायलट परियोजना के तौर पर शुरु किया जाएगा। प्राथमिक तौर पर इसके लिए राष्ट्रीय महिला आयोग द्वारा अनुदान दिया जाएगा। यहां तैनात होने वाले काउंसलरों को टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल साइंस में समुचित प्रशिक्षण दिया जाएगा। यह महिलाओं को शिकायत दर्ज करवाने, कानूनी सहायता उपलब्ध करवाने के साथ ही उन्हें रोजगार उपलब्ध करवाने के लिए भी कार्य करेगा। इस प्रकार के प्रकोष्ठों की शुुरुआत मुंबई में महाराष्ट्र सरकार द्वारा संयुक्त राष्ट्र महिला विकास फंड की मदद से की गई है।

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