चेन्नई/दक्षिण भारत। तमिलनाडु के तूतीकोरिन में वीओसी पोर्ट भारत का पहला हरित हाइड्रोजन हब बन जाएगा। यह हरित बंदरगाहों का एक पारिस्थितिकी तंत्र विकसित करेगा और एक ट्रांसशिपमेंट हब के रूप में भी उभरेगा, जब प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी 28 फरवरी को कई पहल शुरू करेंगे। केंद्रीय मंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
उन्होंने कहा, इसके अलावा, चेन्नई रूस के व्लादिवोस्तोक के लिए पूर्वी समुद्री गलियारे का प्रवेश द्वार बन जाएगा और दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार में और वृद्धि होगी।
सोनोवाल ने यहां संवाददाताओं से कहा, 'कल प्रधानमंत्री मोदी 17,000 करोड़ रुपए से अधिक की 36 परिवर्तनकारी परियोजनाओं का शिलान्यास, उद्घाटन और राष्ट्र को समर्पित करेंगे। यह विकसित भारत@2047 की ओर एक कदम है।'
उन्होंने कहा कि बंदरगाह, जहाजरानी और जलमार्ग मंत्रालय के तहत 10,324 करोड़ रुपए की लगभग 30 परियोजनाओं का उद्घाटन, शिलान्यास या लोकार्पण प्रधानमंत्री द्वारा किया जाएगा। इनमें से 7,587 करोड़ रुपए की छह परियोजनाएं केवल तमिलनाडु के दो बंदरगाहों में हैं।
सोनोवाल ने कहा कि कुछ साल पहले ही प्रधानमंत्री ने घोषणा की थी कि सरकार भारत के पूर्वी तट पर वीओसी पोर्ट को ट्रांसशिपमेंट हब बनाने के लिए कदम उठाएगी। कल यह गारंटी पूरी होने जा रही है।