नॉर्वे में सुंदर प्राकृतिक दृश्य, अच्छी धूप, सांस्कृतिक जुड़ाव तथा जीवन में संतुलन पर विशेष ध्यान दिए जाने के कारण योग की लोकप्रियता बढ़ रही है। वहां शहरी और ग्रामीण, दोनों क्षेत्रों में योगाभ्यास करने वालों की संख्या बढ़ रही है।
दक्षिणी नॉर्वे के फ़ार्सुंड शहर में साल 2015 में एक योग स्टूडियो खुलने के बाद पर्यटक भी वहां जाकर योग सीखने लगे हैं। यही नहीं, योग से नॉर्वे में उद्यमिता को बढ़ावा मिल रहा है। लोगों ने फोटोग्राफी संबंधी कार्यों के साथ योग को शामिल किया है।
इसके अलावा, नॉर्वे में पर्यटकों के लिए योग और ध्यान शिविरों को बढ़ावा देने में मदद करने के लिए अंग्रेजी एवं स्थानीय भाषाओं में कई वेबसाइटें बनाई गई हैं। इससे वेबसाइट के निर्माण के क्षेत्र में कार्यरत युवाओं के लिए रोजगार के अवसर बढ़ रहे हैं। ऐसे कई ऐप आ गए हैं, जिन्होंने मोबाइल पर योग कक्षाओं को अधिक सुलभ बना दिया है।
सोशल मीडिया ने भी योगाभ्यास को नए आयाम दिए हैं। नॉर्वे में उन सोशल मीडिया इन्फ्लूएंसरों की संख्या बढ़ रही है, जो योग में रुचि रखते हैं।
हाल में भारत में नॉर्वे की राजदूत मे-एलिन स्टेनर ने योग को दुनिया को भारत का सबसे बड़ा उपहार बताया था। उन्होंने योगाभ्यास करते हुए वीडियो और तस्वीरें भी साझा किए थे।