एफडीआई नियमों को सरल बनाया जाएगा: वित्त मंत्री

सरकार शहरों के रचनात्मक पुनर्विकास के लिए रूपरेखा तैयार करेगी

Photo: nirmala.sitharaman FB page

नई दिल्ली/दक्षिण भारत। देश में अधिकाधिक धन आकर्षित करने के उद्देश्य से वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को कहा कि प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) के नियमों को सरल बनाया जाएगा।

केंद्रीय बजट 2024-25 पेश करते हुए वित्त मंत्री ने कहा कि सरकार अर्थव्यवस्था की वित्तीय जरूरतों को पूरा करने के लिए पांच साल का विजन दस्तावेज लाएगी।

उन्होंने कहा कि निजीकरण को बढ़ावा देने तथा विदेशी निवेश के लिए भारतीय रुपए का उपयोग करने के भी प्रयास किए जाएंगे।

सरकार ने 30 लाख से अधिक आबादी वाले 14 बड़े शहरों के लिए पारगमन-उन्मुख विकास योजना का प्रस्ताव रखा। 

वित्त मंत्री कहा कि सरकार शहरों के रचनात्मक पुनर्विकास के लिए रूपरेखा तैयार करेगी।

मंत्री ने अगले पांच वर्षों में शहरी आवास के लिए 2.2 लाख करोड़ रुपए की केन्द्रीय सहायता की घोषणा की, साथ ही शहरी आवास कार्यों के लिए किफायती दरों पर ऋण उपलब्ध कराने के लिए ब्याज सब्सिडी योजना की भी घोषणा की।

वित्त मंत्री ने कहा कि सामाजिक न्याय को व्यापक रूप से प्राप्त करने के लिए शिक्षा और स्वास्थ्य सहित विभिन्न कार्यक्रमों के माध्यम से सभी पात्र लोगों को कवर करने का संतृप्ति दृष्टिकोण अपनाया जाएगा।

उन्होंने कहा कि समावेशी मानव संसाधन विकास सुनिश्चित करने के लिए सामाजिक न्याय संतृप्ति दृष्टिकोण अपनाया जाएगा।

संतृप्ति दृष्टिकोण के माध्यम से सामाजिक न्याय एक ऐसी रणनीति है, जिसमें सरकार का लक्ष्य यह सुनिश्चित करना है कि सभी पात्र व्यक्ति विभिन्न कार्यक्रमों और पहलों के अंतर्गत आ सकें।

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