नई दिल्ली/दक्षिण भारत। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने मंगलवार को कहा कि भारत में रेल किराया पाकिस्तान, श्रीलंका और बांग्लादेश जैसे पड़ोसी देशों से कहीं कम है।
उन्होंने कहा कि रेल दुर्घटनाओं में 90 प्रतिशत की कमी आई है। वर्ष 2025-26 के लिए रेल मंत्रालय के नियंत्रणाधीन अनुदानों की मांगों पर बहस का जवाब देते हुए वैष्णव ने कहा कि राष्ट्रीय ट्रांसपोर्टर कोविड महामारी की कठिनाइयों से उभरकर अपने खर्चों को पूरा करने में सक्षम हो गया है।
महाकुंभ पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान पर बोलने की अनुमति नहीं दिए जाने को लेकर विपक्ष के शोरगुल के बीच मंत्री ने कहा कि रेलवे ने स्टेशनों पर भीड़ को नियंत्रित करने के लिए कई कदम उठाए हैं और त्योहारों के मौसम में कई विशेष रेलगाड़ियां चला रहा है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी द्वारा सुरक्षा पर ध्यान दिए जाने के कारण, लालू प्रसाद के मंत्रालय संभालने के समय की तुलना में दुर्घटनाओं में 90 प्रतिशत की कमी आई है।
उन्होंने कहा, 'लालू प्रसाद के कार्यकाल में एक वर्ष में लगभग 234 दुर्घटनाएं और 464 ट्रेनें पटरी से उतरीं यानी प्रति वर्ष लगभग 700 घटनाएं। ममता बनर्जी के कार्यकाल में 165 दुर्घटनाएं और 230 ट्रेनें पटरी से उतरीं, जिससे दुर्घटनाओं की संख्या प्रति वर्ष 395 हो गई और मल्लिकार्जुन खरगे के कार्यकाल में 118 दुर्घटनाएं और 263 ट्रेनें पटरी से उतरीं, जिससे दुर्घटनाओं की कुल संख्या 381 हो गई।
वैष्णव ने यह भी कहा कि कवच का बड़े पैमाने पर 10,000 इंजनों और 15,000 किलोमीटर पर परिचालन किया जा रहा है।
वैष्णव ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने सुरक्षा पर ध्यान केंद्रित किया और नई तकनीक और निवेश लाए। इस दौरान 30 दुर्घटनाएं हुईं और 43 ट्रेनें पटरी से उतरीं, जो पहले की अवधि से 90 प्रतिशत कम है, वर्ष 2014-15 की तुलना में 80 प्रतिशत कम है।