'ट्रंप के सिर पर सजेगा ताज' - भारतीय मूल के ज्योतिषी ने जून में ही कर दी थी भविष्यवाणी!
काथिर सुबैया ने 16 सितंबर को ट्रंप और हैरिस की जन्म कुंडलियों का विश्लेषण भी पेश किया था
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वॉशिंगटन/दक्षिण भारत। अमेरिका के राष्ट्रपति चुनाव में रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप की जीत की भविष्यवाणी भारतीय मूल के एक ज्योतिषी ने इस साल जून में ही कर दी थी। काथिर सुबैया, जो सोशल मीडिया में केटी एस्ट्रोलॉजर के नाम से जाने जाते हैं, ने 2 जून को पोस्ट किए गए एक वीडियो में भविष्यवाणी की थी कि ट्रंप एक बार फिर राष्ट्रपति बनने जा रहे हैं।
हालांकि उस समय कई लोगों का आकलन था कि डेमोक्रेटिक पार्टी की कमला हैरिस काफी मजबूत उम्मीदवार साबित होंगी, जो अमेरिका की पहली महिला राष्ट्रपति होने का रिकॉर्ड अपने नाम कर सकती हैं। अब नतीजे आ गए तो ट्रंप ने सबको चौंका दिया और काथिर सुबैया की भविष्यवाणी ने भी!भारतीय मूल के ज्योतिषी ने कहा था कि जो बाइडन के राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनने की संभावना नहीं है और कमला हैरिस को आगे लाया जाएगा। उनकी यह भविष्यवाणी 21 जुलाई को सच साबित हुई, जब बाइडन अमेरिकी राष्ट्रपति पद की दौड़ से बाहर हो गए थे।
काथिर सुबैया ने 16 सितंबर को ट्रंप और हैरिस की जन्म कुंडलियों का विश्लेषण भी पेश किया था। उन्होंने कहा था कि ट्रंप सिंह लग्न और वृश्चिक राशि के हैं, जिनका अर्धाष्टम शनि काल चल रहा है। वहीं, कमला हैरिस मेष राशि और मिथुन लग्न में अश्विनी नक्षत्र के अंतर्गत आती हैं। उनकी 19 जनवरी, 2024 से 19 जनवरी, 2027 के बीच अनुकूल राहु महादशा और अनुकूल शुक्र अंतर्दशा चल रही है।
ज्योतिषीय गणना के अनुसार, हैरिस की कुंडली के दूसरे भाव में अनुकूल बृहस्पति और लाभ स्थान 11वें भाव में शनि गोचर दृष्टि के आधार पर मौजूद हैं। वहीं, छठे भाव में केतु के विशिष्ट योग बनाने से उन्हें अचानक सौभाग्य की अनुकूलता मिली और वे राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार बन गईं।
काथिर सुबैया ने बताया था कि 16 सितंबर तक कमला हैरिस का स्वर्णिम काल चलेगा, लेकिन सौभाग्यदायक योग के प्रभाव 17 अक्टूबर को पूरी तरह से बंद हो जाएंगे। वहीं, डोनाल्ड ट्रंप का भाग्योदय 18 अक्टूबर से 15 नवंबर के बीच होगा।
ज्योतिषी ने कहा था कि अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव की तारीख 5 नवंबर तय की गई है। यह डोनाल्ड ट्रंप की स्पष्ट जीत का संकेत दे रही है। हालांकि कमला हैरिस के लिए 16 नवंबर से अनुकूल समय फिर शुरू होगा। इससे कई राज्यों में पुनर्मतगणना और डेमोक्रेट्स एवं रिपब्लिकन के बीच विवाद छिड़ने जैसी स्थिति पैदा हो सकती है। उच्चतम न्यायालय के हस्तक्षेप की भी जरूरत पड़ सकती है, जैसा कि नवंबर 2000 में जॉर्ज डब्ल्यू बुश और अल गोर के बीच राष्ट्रपति चुनाव के दौरान हुआ था।
बता दें कि काथिर सुबैया पेशे से इंजीनियर हैं। मूलत: तमिलनाडु के तिरुचिरापल्ली से आने वाले काथिर वैदिक ज्योतिष संबंधी गणनाओं और भविष्यवाणियों के लिए जाने जाते हैं। उन्होंने कोरोना काल में, जब दुनियाभर में रोजाना हजारों लोगों की मौतें हो रही थीं, इस महामारी के खात्मे और वैक्सीन की भविष्यवाणी की थी, जो सच साबित हुई थी।