हमें अपने युवाओं को भविष्यदर्शी बनाने की जरूरत है: मोदी
प्रधानमंत्री ने वीर बाल दिवस कार्यक्रम को संबोधित किया
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नई दिल्ली/दक्षिण भारत। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को यहां 'भारत मंडपम्' में वीर बाल दिवस कार्यक्रम को संबोधित किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि आज हम तीसरे 'वीर बाल दिवस' का हिस्सा बन रहे हैं। तीन साल पहले हमारी सरकार ने वीर साहिबजादों के बलिदान की अमर स्मृति में 'वीर बाल दिवस' मनाने शुरुआत की थी। अब यह दिन करोड़ों देशवासियों के लिए, पूरे देश के लिए राष्ट्रीय प्रेरणा का पर्व बन गया है। इस दिन ने भारत के कितने ही बच्चों और युवाओं को अदम्य साहस से भरने का काम किया है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि साहिबजादों ने मुगल साम्राज्य के सभी प्रलोभनों को ठुकरा दिया था। हर अत्याचार को सहा। जब वजीर खान ने उन्हें जिंदा ईंटों में चिनवाने का आदेश दिया, तो साहिबजादों ने बड़ी बहादुरी के साथ चुनौती स्वीकार की। उन्होंने वजीर खान को गुरु अर्जन देव, गुरु तेग बहादुर और गुरु गोविंद सिंह की बहादुरी की याद दिलाई। उन्होंने मौत को स्वीकार किया, लेकिन आस्था के मार्ग से कभी विचलित नहीं हुए।प्रधानमंत्री ने कहा कि गुरु परंपरा ने हमें सभी को एक समान भाव से देखना सिखाया है और संविधान भी हमें इसी विचार की प्रेरणा देता है। वीर साहिबजादों का जीवन हमें देश की अखंडता और विचारों से कोई समझौता न करने की सीख देता है। संविधान भी हमें भारत की प्रभुता और अखंडता को सर्वोपरि रखने का सिद्धांत देता है। हमारे लोकतंत्र की विराटता में गुरुओं की सीख है, साहिबजादों का त्याग है और देश की एकता का मूल मंत्र है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि इतिहास से वर्तमान तक, भारत की प्रगति में हमेशा युवा ऊर्जा की बड़ी भूमिका रही है। आजादी की लड़ाई से लेकर 21वीं सदी के जनांदोलनों तक, भारत के युवा ने हर क्रांति में अपना योगदान दिया है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि 'वीर बाल दिवस' हमें प्रेरणाओं से भरता है और नए संकल्पों के लिए प्रेरित करता है। मैंने लाल किले से कहा था कि अब बेस्ट ही हमारा स्टैंडर्ड होना चाहिए। मैं अपनी युवा शक्ति से कहूंगा कि वे जिस सेक्टर में हों, उसे बेस्ट बनाने के लिए काम करें।
प्रधानमंत्री ने कहा कि बहादुर साहिबजादों का जीवन हमें अपने राष्ट्र की अखंडता को बनाए रखने और अपने मूल्यों से कभी समझौता न करने की प्रेरणा देता है। हमारे लोकतंत्र की महानता हमारे गुरुओं की शिक्षाओं, साहिबजादों के बलिदान और राष्ट्रीय एकता के मूल सिद्धांत में निहित है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि एआई का उपयोग बढ़ रहा है, जो सामान्य सॉफ्टवेयर की जगह ले रहा है। हम हर क्षेत्र में नई चुनौतियों का सामना कर रहे हैं। हमें अपने युवाओं को भविष्यदर्शी बनाने की जरूरत है। हम इस लक्ष्य को पूरा करने के लिए पूरी तरह से समर्पित हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज की तेजी से बदलती दुनिया में नई जरूरतें, नई अपेक्षाएं, अपवाद और भविष्य के लिए नए दृष्टिकोण हैं। यह युग मशीनों से आगे बढ़कर मशीन लर्निंग की ओर बढ़ रहा है।