हेसरघट्टा संरक्षण रिजर्व परियोजना का प्रस्ताव खारिज
हेसरघट्टा संरक्षण रिजर्व परियोजना का प्रस्ताव खारिज
बेंगलूरु/दक्षिण भारत। हेसरघट्टा के घास के मैदानों को संरक्षित भूमि घोषित करने की योजना को राज्य वन्यजीव बोर्ड ने व्यावसायिक कारणों का हवाला देते हुए खारिज कर दिया।
राज्य के वन विभाग और पशुपालन विभाग ने 5,010 एकड़ भूमि क्षेत्र को ग्रेटर हेसरघट्टा ग्रासलैंड कंजर्वेशन रिजर्व घोषित करने का प्रस्ताव तैयार किया था जिसे मंगलवार को बोर्ड ने खारिज कर दिया।बेंगलूरु विकास बैठक में इस प्रस्ताव पर चर्चा की गई थी जहां एक आईएएस अधिकारी ने मुख्यमंत्री बीएस येडियुरप्पा को इस प्रस्ताव को खारिज करने की अपील की। वहीं क्षेत्र के विधायक ने भी बोर्ड से प्रस्ताव को स्वीकार नहीं करने के लिए कहा क्योंकि वह इस पर चर्चा में शामिल नहीं थे।
वहीं एक अन्य सरकारी अधिकारी का इस पर कहना है कि इस क्षेत्र को सूची से पहले ही हटा दिया गया था क्योंकि इसकी कीमत अधिक है जिसका व्यावसायिक इस्तेमाल किया जा सकता है।
गौरतलब है कि संरक्षण के लिए प्रस्तावित क्षेत्र भारत के सीरम संस्थान और इसके आसपास के अन्य संस्थानों के लिए भी महत्वपूर्ण था। हेसरघट्टा घास का मैदान विभिन्न प्रकार की वनस्पतियों और जीवों की विविधता से समृद्ध इलाका है। कई पक्षी सर्दियों के दौरान यहां पलायन करते हैं।