तमिलनाडु और कर्नाटक समेत पूरे दक्षिण का विकास हमारी सरकार की प्राथमिकता है: मोदी

प्रधानमंत्री ने 3 'वंदे भारत' ट्रेनों को हरी झंडी दिखाई

तमिलनाडु और कर्नाटक समेत पूरे दक्षिण का विकास हमारी सरकार की प्राथमिकता है: मोदी

Photo: @BJP4India X account

नई दिल्ली/दक्षिण भारत। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से तीन 'वंदे भारत' ट्रेनों को हरी झंडी दिखाई। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि आज उत्तर से दक्षिण तक देश की विकास यात्रा में एक और अध्याय जुड़ रहा है। आज से मदुरै-बेंगलूरु, चेन्नई-नागरकोइल और मेरठ-लखनऊ के बीच वंदे भारत ट्रेनों की सेवा शुरू हो रही है। ये ट्रेनें उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु और कर्नाटक में कनेक्टिविटी को बढ़ावा देंगी। 

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उन्होंने वंदे भारत ट्रेनों के विस्तार, आधुनिकता और रफ्तार की सराहना करते हुए कहा कि हमारा देश 'विकसित भारत' के लक्ष्य की ओर कदम-दर-कदम बढ़ रहा है। इन ट्रेनों से देश के महत्त्वपूर्ण शहरों के साथ-साथ ऐतिहासिक कस्बों को भी संपर्क सुविधा मिली है। 

उन्होंने कहा कि मंदिरों का शहर मदुरै अब आईटी सिटी बेंगलूरु से जुड़ गया है। इससे न केवल संपर्क आसान होगा, बल्कि यह तीर्थयात्रियों के लिए भी खासकर सप्ताहांत या त्योहारों के दौरान बहुत फायदेमंद होगा। चेन्नई-नागरकोइल मार्ग से छात्रों, किसानों और आईटी पेशेवरों को बहुत लाभ होगा। 

दक्षिण भारत में अपार प्रतिभा

प्रधानमंत्री ने कहा कि विकसित भारत के लक्ष्य को पूरा करने के लिए दक्षिण के राज्यों का तेज विकास बहुत जरूरी है। दक्षिण भारत में अपार प्रतिभा है, अपार संसाधन और अवसर हैं, इसलिए तमिलनाडु और कर्नाटक समेत पूरे दक्षिण का विकास हमारी सरकार की प्राथमिकता है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि बीते 10 वर्षों में इन राज्यों में रेलवे की विकास यात्रा इसका उदाहरण है। इस साल के बजट में हमने तमिलनाडु को 6,000 करोड़ रुपए से ज्यादा रेलवे बजट दिया है। यह बजट साल 2014 की तुलना में सात गुना से ज्यादा है। तमिलनाडु में वंदे भारत ट्रेनों की कुल संख्या आठ हो जाएगी।

प्रधानमंत्री ने कहा कि इसी तरह कर्नाटक के लिए भी इस बार 7,000 करोड़ रुपए से ज्यादा का बजट आवंटित हुआ है। यह बजट भी साल 2014 की तुलना में नौ गुना ज्यादा है। आज कर्नाटक को आठ वंदे भारत ट्रेनें जोड़ रही हैं। जहां भी वंदे भारत ट्रेनें चली हैं, वहां पर्यटन में वृद्धि हुई है, जिससे स्थानीय व्यवसायों को बढ़ावा मिला है और रोजगार के नए अवसर पैदा हुए हैं। मैं इस उपलब्धि के लिए नागरिकों को बधाई देता हूं।  

दक्षिण में रेल यातायात को और मजबूत किया

प्रधानमंत्री ने कहा कि बजट में कई गुना बढ़ोतरी ने तमिलनाडु और कर्नाटक सहित दक्षिण भारत के राज्यों में रेल यातायात को और मजबूत किया है। रेलवे ट्रैकों में सुधार किया जा रहा है, उनका विद्युतीकरण हो रहा है और रेलवे स्टेशनों का आधुनिकीकरण किया जा रहा है। इससे लोगों के जीवन में आसानी बढ़ी है और व्यापार करने में भी सुगमता हुई है।

हर रूट पर वंदे भारत की मांग

प्रधानमंत्री ने मेरठ-लखनऊ मार्ग पर नई वंदे भारत ट्रेन की शुरुआत के लिए लोगों को बधाई दी। उन्होंने कहा कि इससे उप्र और खासकर पश्चिमी उप्र के लोगों को खुशखबरी मिली है। मेरठ और पश्चिमी उप्र क्रांति की धरती हैं। आज यह क्षेत्र विकास की नई क्रांति का साक्षी बन रहा है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि वंदे भारत आधुनिक होती भारतीय रेलवे का नया चेहरा है। आज शहर में, हर रूट पर वंदे भारत की मांग है। हाई-स्पीड ट्रेनों के आने से लोगों में अपने व्यापार और रोजगार को, अपने सपनों को विस्तार देने का भरोसा जगता है। आज देशभर में 102 वंदे भारत रेलवे सेवाएं संचालित हो रही हैं।

प्रधानमंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) इस बात का उदाहरण बन रहा है कि कैसे पीएम गतिशक्ति का विजन आधुनिक ट्रेनों, एक्सप्रेसवे के नेटवर्क और हवाई सेवाओं के विस्तार के साथ देश के इंफ्रास्ट्रक्चर को बदल सकता है। रेलवे लाइनों का दोहरीकरण हो, विद्युतीकरण हो, नई ट्रेनों को चलाना हो, नए रूट्स का निर्माण हो, इन सभी पर तेजी से काम हो रहा है।

हवाईअड्डों की तरह होंगे रेलवे स्टेशन

प्रधानमंत्री ने कहा कि देश में 1,300 से ज्यादा रेलवे स्टेशनों का नवीनीकरण किया जा रहा है, जिनमें से कुछ को हवाईअड्डों की तरह बनाया जा रहा है। इसके अलावा छोटे-से-छोटे स्टेशनों को भी अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ विकसित किया जा रहा है, जिससे यात्रा की सुगमता बढ़ेगी। जब रेलवे, सड़क और जलमार्ग जैसे कनेक्टिविटी इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत किया जाता है तो देश मजबूत होता है

प्रधानमंत्री ने कहा कि जब रिकॉर्ड संख्या में अस्पताल, शौचालय और पक्के घर बनते हैं तो देश के विकास का लाभ गरीब से गरीब व्यक्ति को भी मिलता है। जब कॉलेज, विश्वविद्यालय और उद्योग जैसे इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास होता है तो इससे युवाओं की प्रगति की संभावना भी बढ़ती है। ऐसे अनेक प्रयासों के कारण पिछले 10 वर्षों में 25 करोड़ लोग गरीबी से बाहर आ पाए हैं।

बहुत लंबा सफर तय करना है

प्रधानमंत्री ने कहा कि बीते वर्षों में रेलवे ने अपनी मेहनत से दशकों पुरानी समस्याओं के समाधान की उम्मीद जगाई है, लेकिन हमें अभी इस दिशा में बहुत लंबा सफर तय करना है। हम तब तक नहीं रुकेंगे, जब तक भारतीय रेल गरीब, मध्यम वर्ग, सभी के लिए सुखद यात्रा की गारंटी नहीं बन जाती।

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