चिन्मय कृष्णदास की जमानत को लेकर बांग्लादेश से आई बड़ी खबर
चिन्मय कृष्णदास वर्चुअली उपस्थित हुए
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ढाका/दक्षिण भारत। बांग्लादेश की एक अदालत ने गुरुवार को एक हिंदू पुजारी और पूर्व इस्कॉन नेता को देशद्रोह के मामले में जमानत देने से इन्कार कर दिया।
चिन्मय कृष्णदास को सुनवाई के लिए अदालत में नहीं लाया गया और वे वर्चुअली उपस्थित हुए।चिन्मय कृष्णदास, जो पहले अंतरराष्ट्रीय कृष्ण भावनामृत संघ (इस्कॉन) से जुड़े थे, को 25 नवंबर को ढाका के हजरत शाहजलाल अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे से गिरफ्तार किया गया था।
स्थानीय मीडिया ने चटगांव जिला बार एसोसिएशन के अध्यक्ष नाज़िम उद्दीन चौधरी के हवाले से बताया कि सुनवाई के दौरान राज्य ने ज़मानत पर आपत्ति जताते हुए कहा कि यह देशद्रोह का मामला है और इसके लिए सबसे बड़ी सज़ा आजीवन कारावास है।
मेट्रोपॉलिटन पब्लिक प्रॉसिक्यूटर एडवोकेट मोफिजुल हक भुइयां ने बताया, 'चटगांव मेट्रोपॉलिटन सेशंस जज सैफुल इस्लाम ने दोनों पक्षों की दलीलें लगभग 30 मिनट तक सुनने के बाद जमानत याचिका खारिज कर दी।'
दास के वकील अपूर्व कुमार भट्टाचार्य ने कहा कि वे जमानत के लिए उच्च न्यायालय में अपील करने की योजना बना रहे हैं।