लोकसभा में पारित वक्फ विधेयक के खिलाफ उच्चतम न्यायालय जाएगी द्रमुक: स्टालिन
मुख्यमंत्री ने सदन को बताया, 'यह धार्मिक सद्भाव को बिगाड़ने वाला कृत्य है'

Photo: MKStalin FB Page
चेन्नई/दक्षिण भारत। लोकसभा में वक्फ विधेयक पारित होने पर कड़ी आपत्ति जताते हुए तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एवं द्रमुक अध्यक्ष एमके स्टालिन ने गुरुवार को कहा कि उनकी पार्टी इस विधेयक के खिलाफ उच्चतम न्यायालय में मामला दायर करेगी।
विधेयक पारित होने के विरोध में काली पट्टी बांधकर विधानसभा में आए मुख्यमंत्री ने कहा कि भारत में बहुसंख्यक दलों के विरोध के बावजूद 'कुछ सहयोगियों के इशारे पर' रात दो बजे संशोधन पारित करना 'संविधान की संरचना पर हमला है।'मुख्यमंत्री ने सदन को बताया, 'यह धार्मिक सद्भाव को बिगाड़ने वाला कृत्य है। इसे उजागर करने के लिए हम आज विधानसभा की कार्यवाही में काले बैज पहनकर भाग ले रहे हैं।'
स्टालिन ने सत्ता पक्ष की ओर से मेज थपथपाने के बीच कहा, 'मैं आपको सूचित करना चाहूंगा कि इस विवादास्पद संशोधन के खिलाफ द्रमुक की ओर से उच्चतम न्यायालय में मामला दायर किया जाएगा। तमिलनाडु केंद्र सरकार के उस कानून के खिलाफ लड़ेगा, जो वक्फ बोर्ड की स्वायत्तता को नष्ट करता है और अल्पसंख्यक मुस्लिम आबादी के लिए खतरा पैदा करता है।'
उन्होंने बताया कि राज्य विधानसभा ने प्रस्तावित संशोधन के खिलाफ 27 मार्च को एक प्रस्ताव पारित कर दिया था, क्योंकि इससे अल्पसंख्यक मुस्लिम समुदाय के अलावा भारत में धार्मिक सद्भाव पर भी गंभीर असर पड़ेगा।
उन्होंने कहा कि यह बेहद निंदनीय है कि वक्फ अधिनियम में संशोधन को लोकसभा में पारित कर दिया गया, जबकि इसके खिलाफ 232 सांसदों ने वोट दिया था। यह कोई सामान्य संख्या नहीं है। यह संख्या बढ़ भी सकती है। उन्होंने कहा कि इसके पक्ष में केवल 288 सदस्यों ने वोट दिया।
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